यशु
हमारा पागलपन की हद्द तो देखो, उनको उनसे है छीनने के सपने देखने लगे अब हम।
प्रेम आता ही कहाँ
बस आपको देखते रहे उस पर ही दो जहाँ कुर्बान
तुमको पाना चाहता ये दिल तुझमे खो जाना चाहता ये दिल।
बस हर पल तुझको ही पाना चाहता ये दिल।
मेरे ख्यालों में मिलना एक दिन।
न चाहिए कुछ तुमसे ज्यादा न तुमसे कम नही।
तुमसे दूर जाने का खयाल भी हमारी सांसे बंद करने लगता
क्यों क्यों आखिर क्यों तुमको महसूस करते ही ये जुबां रुकती नही थकती नही
बस तुमको तकती सदा सदा बस सदा
तू जो रूठा तो कौन हंसेगा तू जो छुटा तो कौंन रहेगा, तू चुप है तो ये डर लगता है
अपना मुझको अब कौन कहेगा
तू ही वजह तेरे बिना बेकार हुँ मैं।
उम्र भर जिसको पा न सके उसकी याद में तड़पना तो हमारा नसीब बन गया
बस उसकी बस उसकी ही हर याद है किस्सा कहानी बन गया।
तैयार हूं मैं
तुमसे मिली हर एक चीज़ हमे अपनी लगती
अब वो बिरह हो या प्रेम
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